अयोध्या वासियों को ज्ञान देने वाले समय निकाल अवश्य पढ़ें-
अयोध्या भाजपा कैंडिडेट को 5 लाख वोट मिले,,,
किधर से मिले,,,खुद उन्होंने 5 लाख बार वोट दिया,,,सीधी सी बात है जनता ने ही दिया ना,,,,,
लोग समझ ही नही रहे कि कॉंग्रेस सपा और बसपा का भी बहुत वोट डायरेक्ट सपा कैंडिडेट को मिला,,,
सारे वोट इकट्ठे होकर एक ही जगह पड़े,,,
यही मुख्य कारण है हार का,,,,
और जो कैंडिडेट हारे हैं,, ये साहब संविधान खत्म करवा रहे थे,,बकायदा वीडियो घूम रहा था हर जिले में,,,ये अफवाह कई जिले में पेट्रोल का काम किया,, इन्हीं के कारण इस पास की भी सीटें चली गयीं,,दलित वोट लामबंद हो गया,,डर गया की आरक्षण तो खत्म हो जाएगा अब।।।।
काश योगी जी की बात मानी गई होती तो इनको टिकट ही न मिलता।।।
बाकी इस हार से राममंदिर पर या अयोध्याजी पर कोई फर्क नही पड़ने वाला है,,,
क्योंकि पांच साल लल्लू सिंह जी भी जमीनी स्तर पर कहीं नहीं दिखे थे,,,,,और ये सपा के विजयी प्रत्याशी भी नही दिखेंगे,,,,
कारण बहुतों को नही पता होगा कि अयोध्या का सारा फंड इस समय अयोध्या नगर निगम में है,, अयोध्या मेयर भाजपाई गिरीश मणि त्रिपाठी जी हैं,, जो स्वयं महंत हैं,,,योगी जी के बहुत प्रिय हैं,,,,
अयोध्या नगर निगम का बजट 950 करोड़ है,,950 करोड़ समझ रहे ना आपसब,,सैकड़ों सांसदों के सांसद निधि के बराबर,,,,,,
अयोध्याजी में भाजपा के कोर वोटर ने भाजपा को ही वोट किया,,,कम से कम उन्हें तो मत गाली दीजिये,,,
बाकी अयोध्या का पानी मत पीजिए,,,नहाइये मत,गाड़ी में पेट्रोल मत डलवाइये,लड्डू मत खरीदिये,,,ये सब बचकानी हरकतें आपके विवेक पर निर्भर करती हैं,,,,,आइये दर्शन करिये और घूमिये फिरिये
बस अयोध्या मंदिर आकर वहां किसी को मुंह पर धर्मद्रोही या देशद्रोही मत कह दीजिएगा,,,क्योंकि बीजेपी का हर वोटर गुस्से में भरा बैठा है,, और मंदिर के इर्द गिर्द सभी कट्टर भाजपाई हैं,,, बाद में पछताना न पड़े
अयोध्या का पूरा संत समाज साधु समाज और सभी लोगों ने बीजेपी का समर्थन किया था
अयोध्या विधानसभा से बीजेपी को ज्यादा वोट मिले थे अयोध्या विधानसभा में नहीं हारी है बीजेपीबाकी जिले की और जो विधानसभाए हैं उन सब जगह पर का वोट मिले हैं 🤔🤔